14 राज्यों में Kisan Identity Card अनिवार्य | PM Kisan Yojana नई अपडेट 2025
14 राज्यों में अब जरूरी हुआ किसान पहचान पत्र, PM किसान योजना की नई अपडेट

14 राज्यों में Kisan Identity Card अनिवार्य, जानें योजना से जुड़ी नई अपडेट – PM Kisan Yojana
भारत सरकार किसानों के लिए कई योजनाएं चलाती है, जिनमें सबसे प्रमुख है प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना (PM Kisan Yojana)। इस योजना के तहत देशभर के पात्र किसानों को सालाना ₹6,000 की आर्थिक सहायता तीन किस्तों में दी जाती है। अब सरकार ने योजना को और पारदर्शी बनाने के लिए एक नया नियम लागू किया है, जिसके तहत 14 राज्यों में किसान पहचान पत्र (Farmer ID Card) अनिवार्य कर दिया गया है।Kisan Identity Card
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इस नए बदलाव से किसानों को योजनाओं का लाभ लेने के लिए अपना फार्मर आईडी कार्ड बनवाना जरूरी होगा। आइए जानते हैं इस नई अपडेट से जुड़ी पूरी जानकारी।
किसान पहचान पत्र क्यों हुआ अनिवार्य?
अब तक पीएम किसान योजना के तहत किसानों को आधार कार्ड और बैंक खाते के आधार पर रजिस्ट्रेशन की सुविधा दी जा रही थी। लेकिन कई राज्यों से फर्जीवाड़े और डुप्लीकेट लाभार्थियों की शिकायतें आईं।
इसी समस्या को हल करने के लिए सरकार ने फैसला किया है कि फार्मर आईडी कार्ड के जरिए ही किसानों की पहचान और सत्यापन किया जाएगा। इस आईडी के जरिए किसानों की जमीन का विवरण, उनकी फसल और सरकारी योजनाओं का सीधा रिकॉर्ड उपलब्ध रहेगा।
किन 14 राज्यों में हुआ लागू?
केंद्रीय कृषि मंत्रालय की नई गाइडलाइन के अनुसार, निम्नलिखित 14 राज्यों में किसान पहचान पत्र अनिवार्य कर दिया गया है –
- उत्तर प्रदेश
- मध्य प्रदेश
- बिहार
- झारखंड
- छत्तीसगढ़
- राजस्थान
- हरियाणा
- पंजाब
- महाराष्ट्र
- गुजरात
- कर्नाटक
- तमिलनाडु
- पश्चिम बंगाल
- ओडिशा
इन राज्यों के किसानों को अब PM Kisan Yojana और अन्य कृषि योजनाओं का लाभ लेने के लिए किसान पहचान पत्र (Farmer ID) अनिवार्य रूप से प्रस्तुत करना होगा।
किसान पहचान पत्र (Farmer ID) के फायदे
फार्मर आईडी कार्ड सिर्फ एक पहचान पत्र नहीं है, बल्कि यह किसानों को कई लाभ दिलाने वाला दस्तावेज है। इसके फायदे इस प्रकार हैं –
- ✅ सरकारी योजनाओं का सीधा लाभ – किसान पहचान पत्र से सीधे सब्सिडी, लोन और योजनाओं का लाभ मिलेगा।
- ✅ फर्जीवाड़े पर रोक – डुप्लीकेट रजिस्ट्रेशन और फर्जी लाभार्थियों को रोका जाएगा।
- ✅ जमीन और फसल का रिकॉर्ड – इससे किसान की जमीन और खेती का पूरा डेटा डिजिटल रूप से सुरक्षित रहेगा।
- ✅ कृषि लोन में आसानी – बैंक और सहकारी समितियों से लोन लेने के लिए पहचान आसान होगी।
- ✅ पारदर्शिता और समय की बचत – किसानों को बार-बार अलग-अलग दस्तावेज जमा करने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
किसान पहचान पत्र के लिए जरूरी दस्तावेज
Kisan Identity Card पत्र बनवाने के लिए निम्नलिखित दस्तावेजों की जरूरत होगी –
- आधार कार्ड
- बैंक पासबुक
- जमीन के कागजात (खतौनी/खसरा नंबर)
- पासपोर्ट साइज फोटो
- मोबाइल नंबर
किसान पहचान पत्र के लिए आवेदन प्रक्रिया
किसान आसानी से ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से किसान पहचान पत्र बनवा सकते हैं।
🔹 ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया
- सबसे पहले PM Kisan Yojana की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
- “Farmer ID Registration” या “किसान पंजीकरण” ऑप्शन पर क्लिक करें।
- आधार नंबर और मोबाइल नंबर डालकर लॉगिन करें।
- जमीन और बैंक खाते की जानकारी भरें।
- आवश्यक दस्तावेज अपलोड करें।
- आवेदन सबमिट करने के बाद आपको फार्मर आईडी नंबर मिल जाएगा।
🔹 ऑफलाइन आवेदन प्रक्रिया
- अपने नजदीकी CSC सेंटर, कृषि विभाग कार्यालय या पंचायत कार्यालय में जाएं।
- आवेदन फॉर्म भरकर आवश्यक दस्तावेज संलग्न करें।
- अधिकारी द्वारा सत्यापन के बाद आपको फार्मर आईडी कार्ड उपलब्ध कराया जाएगा।
पीएम किसान योजना और किसान पहचान पत्र का संबंध
पीएम किसान योजना के तहत मिलने वाली किस्तें (₹6,000 प्रतिवर्ष) अब किसान पहचान पत्र से लिंक होंगी। जिन किसानों ने अपना फार्मर आईडी रजिस्ट्रेशन पूरा नहीं किया है, उनके खाते में अगली किस्त की राशि नहीं भेजी जाएगी।
इसलिए किसानों को सलाह दी जाती है कि वे समय रहते अपनी आईडी बनवाएं और इसे आधार व बैंक खाते से लिंक करें।
किसानों के लिए जरूरी सलाह
- किसान जल्द से जल्द अपनी पहचान पत्र बनवाएं।
- सभी दस्तावेज सही और अपडेटेड रखें।
- अगर किसी प्रकार की समस्या हो तो कृषि विभाग या CSC सेंटर से मदद लें।
- PM Kisan की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर समय-समय पर अपडेट लेते रहें।
निष्कर्ष
14 राज्यों में किसान पहचान पत्र (Farmer ID) अनिवार्य किए जाने से किसानों को योजनाओं का लाभ और तेजी से मिलेगा और फर्जीवाड़े पर भी रोक लगेगी। अब किसानों को सलाह दी जाती है कि वे जल्द से जल्द अपना Farmer ID Card बनवाएं, ताकि पीएम किसान योजना और अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ बिना किसी रुकावट के मिलता रहे।
यह कदम कृषि क्षेत्र को और अधिक पारदर्शी और डिजिटल बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है।